Last Updated on November 6, 2025 12:59, PM by Pawan
Orkla IPO Listing: भारतीय फूड कंपनी ओर्कला इंडिया के शेयरों की आज घरेलू मार्केट में 2% प्रीमियम पर एंट्री हुई। इसके आईपीओ को निवेशकों का शानदार रिस्पांस मिला था और ऑफर फॉर सेल इश्यू होने के बावजूद इसे ओवरऑल 48 गुना से अधिक बोली मिली थी। आईपीओ के तहत ₹730 के भाव पर शेयर जारी हुए हैं। आज BSE पर इसकी ₹751.50 और NSE पर ₹750.10 पर एंट्री हुई है यानी कि आईपीओ निवेशकों को 2% से अधिक लिस्टिंग गेन (Orkla Listing Gain) मिला। हालांकि आईपीओ निवेशकों की खुशी थोड़ी ही देर में फीकी हो गई जब शेयर टूट गए। टूटकर BSE पर यह ₹727.90 (Orkla Share Price) पर आ गया यानी कि आईपीओ निवेशक अब 0.29% घाटे में हैं।
Orkla IPO को मिला था जबरदस्त रिस्पांस?
ओर्कला का ₹1,667 करोड़ का आईपीओ सब्सक्रिप्शन के लिए 29-31 अक्टूबर तक खुला था। पूरी तरह से ऑफर फॉर सेल का इश्यू होने के बावजूद इस आईपीओ को निवेशकों का शानदार रिस्पांस मिला था और ओवरऑल यह 48.74 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इसमें क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स (QIB) के लिए आरक्षित हिस्सा 117.63 गुना (एक्स-एंकर), नॉन-इंस्टीट्यूशनल इनवेस्टर्स (NII) का हिस्सा 54.42 गुना और खुदरा निवेशकों का हिस्सा 7.06 गुना और एंप्लॉयीज का हिस्सा 15.12 गुना भरा था। इस आईपीओ के तहत ₹1 की फेस वैल्यू वाले 2,28,43,004 शेयरों की ऑफर फॉर सेल विंडो के तहत बिक्री हुई है। चूंकि यह इश्यू पूरी तरह से ऑफर फॉर सेल का है तो आईपीओ का पैसा शेयर बेचने वाले शेयरहोल्डर्स को मिला है और कंपनी को कोई पैसा नहीं मिला है।
Orkla India के बारे में
वर्ष 1996 में बनी ओर्कला इंडिया ब्रेकफास्ट से लेकर लंच और डिनर और साथ ही बेवरेजेज और डेजर्ट्स से जुड़े प्रोडक्ट्स ऑफर करती है। इसके इंडियन हेरिटेज ब्रांड्स-एमटीआर फूड्स (MTR Foods), ईस्टर्न कॉडिमेंट्स (Eastern Condiments) और रसोई मैजिक (Rasoi Magic) आइकॉन बन चुके हैं। इसका मुख्य कारोबार कर्नाटक, केरल, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में है। साथ ही इसके प्रोडक्ट्स का निर्यात खाड़ी देशों के अमेरिका और कनाडा समेत 42 देशों में होता है। जून 2025 तक के आंकड़ों के मुताबिक इसके पोर्टफोलियो में 400 से अधिक प्रोडक्ट्स हैं और यह हर दिन औसतन 23 लाख यूनिट्स की बिक्री कर रही है। इसके प्रोडक्ट्स भारत, यूएई, थाईलैंड और मलेशिया में स्थित इसकी मैन्युफैक्चरिंग फैसिलिटीज में तैयार होते हैं। मार्च 2025 तक के आंकड़ों के हिसाब से भारत में इसकी 9 मैन्युफैक्चरिंग फैसिलिटीज हैं। देश भर में फैले इसके नेटवर्क डिस्ट्रीब्यूशन में 834 डिस्ट्रीब्यूटर्स और 1888 सब-डिस्ट्रीब्यूटर्स हैं।
कंपनी के वित्तीय सेहत की बात करें तो वित्त वर्ष 2023 में इसे ₹339.13 करोड़ का शुद्ध मुनाफा हुआ था जो अगले वित्त वर्ष 2024 में फिसलकर ₹226.33 करोड़ पर आ गया और फिर वित्त वर्ष 2025 में थोड़ा रिकवर होकर ₹255.69 करोड़ पर पहुंच गया। हालांकि इस दौरान कंपनी की टोटल इनकम लगातार बढ़ी और सालाना 5% से अधिक की चक्रवृद्धि दर (CAGR) से बढ़कर ₹2,455.24 करोड़ पर पहुंच गई। चालू वित्त वर्ष 2026 की बात करें तो पहली तिमाही अप्रैल-जून 2025 में कंपनी को ₹78.92 करोड़ का शुद्ध मुनाफा और ₹605.38 करोड़ की टोटल इनकम हासिल हो चुकी है। जून तिमाही के आखिरी में कंपनी पर ₹2.33 करोड़ का टोटल कर्ज था और रिजर्व और सरप्लस में ₹2,523.56 करोड़ पड़े थे।
डिस्क्लेमर: यहां मुहैया जानकारी सिर्फ सूचना के लिए दी जा रही है। यहां बताना जरूरी है कि मार्केट में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन है। निवेशक के तौर पर पैसा लगाने से पहले हमेशा एक्सपर्ट से सलाह लें। हमारी की तरफ से किसी को भी पैसा लगाने की यहां कभी भी सलाह नहीं दी जाती है।