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शेयर मार्केट में ट्रेडिंग करने वाले ध्यान दें, डेरिवेटिव्स में 91% ट्रेडर्स को नुकसान, क्या कहती है सेबी की स्टडी?

शेयर मार्केट में ट्रेडिंग करने वाले ध्यान दें, डेरिवेटिव्स में 91% ट्रेडर्स को नुकसान, क्या कहती है सेबी की स्टडी?

Last Updated on July 8, 2025 8:43, AM by

Equity Derivatives Segment: शेयर मार्केट में निवेश करने वालों को सावधानी बरतनी चाहिए। सेबी की एक रिपोर्ट के मुताबिक डेरिवेटिव्स में 91% ट्रेडर्स को नुकसान हुआ है।

शेयर मार्केट में नुकसान
 

नई दिल्ली: अगर आप शेयर मार्केट में ट्रेडिंग करते हैं तो आपको सचेत होने की जरूरत है। मार्केट रेगुलेटर सेबी ने सोमवार को एक स्टडी जारी की। इसके मुताबिक, वित्त वर्ष 2025 में इक्विटी डेरिवेटिव्स सेगमेंट (EDS) में करीब 91 फीसदी आम निवेशकों को नुकसान हुआ है। यही ट्रेंड वित्त वर्ष 2024 में भी देखा गया था।यह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है जब सेबी ने अमेरिका की ट्रेडिंग फर्म जेन स्ट्रीट को शेयर बाजार से बैन कर दिया है। जेन स्ट्रीट पर आरोप है कि उसने डेरिवेटिव्स में बड़ी पोजीशन लेकर स्टॉक इंडेक्स में हेरफेर किया। इससे रिटेल निवेशकों को नुकसान हुआ। सेबी का मानना है कि जेन स्ट्रीट की वजह से छोटे निवेशकों को नुकसान हुआ है।

इंडिविजुअल ट्रेडर्स का नुकसान बढ़ा

स्टडी से पता चला है कि इंडिविजुअल ट्रेडर्स का नुकसान बढ़ा है। वित्त वर्ष 2024 में यह नुकसान 74,812 करोड़ रुपये था। यह वित्त वर्ष 2025 में 41 फीसदी बढ़कर 1,05,603 करोड़ रुपये हो गया। दो साल पहले की तुलना में यह 36% बढ़ा है। इसका मतलब है कि व्यक्तिगत ट्रेडर्स भी पहले से ज्यादा ट्रेड कर रहे थे, लेकिन इस साल थोड़ी कमी आई है।

फ्यूचर्स एंड ऑप्शंस में आई कमी

फ्यूचर्स एंड ऑप्शंस (F&O) सेगमेंट में ट्रेडिंग करने वाले निवेशकों की संख्या पिछले साल के मुकाबले 20 फीसदी कम हुई है। हालांकि, ये संख्या दो साल पहले के मुकाबले 24 फीसदी ज्यादा थी। सेबी ने यह एनालिसिस इक्विटी डेरिवेटिव्स सेगमेंट में ट्रेडिंग एक्टिविटी को समझने के लिए किया है। इसमें खास तौर पर दिसंबर 2024 से मई 2025 तक इंडिविजुअल ट्रेडर्स पर फोकस किया गया।

‘जेन स्ट्रीट जैसे जोखिम और नहीं’

सेबी के चेयरमैन तुहिन कांत पांडे ने सोमवार को कहा कि बाजार नियामक को जेन स्ट्रीट ( Jane Street ) की ओर से की गई हेराफेरी जैसे ‘और बहुत से जोखिम’ नहीं दिख रहे हैं। पांडे ने बताया कि सेबी अपने सर्विलांस सिस्टम को अपग्रेड करने पर विचार कर रहा है।

पांडे ने कहा कि जेन स्ट्रीट का जो मामला सामने आया है, वह बस सर्विलांस का ही एक मसला था। और इसी वजह से रेगुलेटर अब इस पहलू पर अपना फोकस बढ़ा रहा है। कुछ दिन पहले ही सेबी ने अमेरिकी हेज फंड जेन स्ट्रीट को स्थानीय बाजारों से बैन कर दिया था। रेगुलेटर ने जांच में पाया था कि फर्म ने स्टॉक इंडेक्स में कथित तौर पर हेरफेर किया है। 3 जुलाई को सेबी ने जेन स्ट्रीट और उसके समूह की संस्थाओं के खिलाफ कार्रवाई की थी।

राजेश भारती

लेखक के बारे मेंराजेश भारतीराजेश भारती, नवभारतटाइम्स ऑनलाइन में असिस्टेंट न्यूज़ एडिटर के तौर पर बिजनेस की खबरों को कवर करते हैं। उन्हें पत्रकारिता में करीब 15 वर्षों का अनुभव है। इससे पहले वह नवभारत टाइम्स अखबार में 5 साल से ज्यादा काम कर चुके हैं। वहां राजेश भारती ने विभिन्न विषयों जैसे- पर्सनल फाइनेंस, इंश्योरेंस, शेयर मार्केट, टेक, गैजेट्स, हेल्थ, एजुकेशन आदि पर फीचर स्टोरी लिखी हैं। नवभारत टाइम्स अखबार में काम करने से पहले इन्होंने दैनिक भास्कर, लोकमत जैसे अखबारों में रिपोर्टिंग और डेस्क, दोनों जगह काम किया है। राजेश भारती को ऑनलाइन के साथ प्रिंट का भी अनुभव है। वह भोपाल, इंदौर, औरंगाबाद (महाराष्ट्र) और रायपुर में काम कर चुके हैं। औरंगाबाद (महाराष्ट्र) में ऑल इंडिया रेडियो के लिए भी काम किया है.

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