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क्या इस हफ्ते शेयर बाजार में आएगी तेजी? US-India ट्रेड डील, कंपनियों के तिमाही नतीजों पर रहेगा फोकस | Zee Business

क्या इस हफ्ते शेयर बाजार में आएगी तेजी? US-India ट्रेड डील, कंपनियों के तिमाही नतीजों पर रहेगा फोकस | Zee Business

Last Updated on July 6, 2025 11:51, AM by

 

Market Outlook: पिछले हफ्ते बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 626.01 अंक या 0.74 फीसदी नीचे आया. वहीं नेशनल स्टॉक एक्सचेंज के निफ्टी में 176.8 अंक या 0.68 फीसदी की गिरावट आई. स्थानीय शेयर बाजारों की दिशा इस हफ्ते अमेरिका-भारत व्यापार वार्ता के नतीजों से तय होगी. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा घोषित जवाबी शुल्क के निलंबन की 90 दिन की अवधि 9 जुलाई को खत्म हो रही है. ऐसे में अगर बातचीत के नतीजे सकारात्मक रहते हैं, तो बाजार की धारणा को बल मिल सकता है. विश्लेषकों ने यह राय जताई है. उनका कहना है कि इसके अलावा आईटी क्षेत्र की प्रमुख कंपनी टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS) के तिमाही नतीजे और विदेशी फंड्स का प्रवाह भी बाजार की दिशा के लिए महत्वपूर्ण रहेगा.

इस हफ्ते 9 जुलाई को भारत सहित दर्जनों देशों पर अमेरिकी प्रशासन द्वारा लगाए गए जवाबी शुल्क के निलंबन की 90 दिन की अवधि समाप्त हो रही है. अमेरिका ने भारतीय उत्पादों पर 26 प्रतिशत का अतिरिक्त शुल्क लगाया था, जिसे बाद में 90 दिन के लिए रोक दिया गया.

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रेलिगेयर ब्रोकिंग लि. के वरिष्ठ उपाध्यक्ष-शोध अजित मिश्रा ने कहा, यह हफ्ता न केवल भारतीय, बल्कि वैश्विक बाजारों के लिए भी महत्वपूर्ण है. सबसे अधिक महत्वपूर्ण घटनाक्रम 9 जुलाई की जवाबी शुल्क निलंबन की समयसीमा की समाप्ति है. इससे वैश्विक व्यापार के भविष्य को आकार मिलेगा. निवेशक उसी दिन फेडरल ओपन मार्केट कमेटी के बैठक के ब्योरे का भी इंतजार करेंगे.

TCS के नतीजों पर रहेगी नजर

घरेलू स्तर पर निवेशकों की निगाह आईटी कंपनी टीसीएस (TCS Q1 Results) और खुदरा क्षेत्र की दिग्गज एवेन्यू सुपरमार्ट्स (Avenue Supermarts) के तिमाही नतीजों पर रहेगी. इसके अलावा कई अन्य कंपनियों के भी चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही के नतीजे आएंगे. साथ ही ब्रेंट कच्चे तेल के दाम (Crude Oil Prices) और डॉलर के मुकाबले रुपये की चाल भी बाजार के लिए महत्वपूर्ण रहेगी.

भारत-अमेरिका ट्रेड डील पर नजर

जियोजीत इन्वेस्टमेंट्स लिमिटेड के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, अमेरिका-भारत व्यापार वार्ता के सकारात्मक परिणाम बाजार की धारणा को और बेहतर बना सकते हैं. इससे खासकर आईटी, फार्मा और वाहन जैसे व्यापार-संवेदनशील क्षेत्रों को लाभ पहुंच सकता है.

मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड के शोध प्रमुख-संपदा प्रबंधन सिद्धार्थ खेमका ने कहा, कुल मिलाकर, हमें उम्मीद है कि भारत-अमेरिका व्यापार पर स्पष्टता की लेकर बाजार में सुस्ती रहेगी. वहीं इस हफ्ते से शुरू होने वाले तिमाही नतीजों के सत्र से शेयर विशेष गतिविधियां देखने को मिल सकती हैं

जियोजीत इन्वेस्टमेंट्स लिमिटेड के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी के विजयकुमार ने कहा, विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) की लिवाली गतिविधियां दो चीजों पर निर्भर करेंगी. एक, अगर भारत और अमेरिका के बीच व्यापार समझौता होता है तो यह बाजारों और एफआईआई प्रवाह के लिए सकारात्मक होगा. दूसरा चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही के नतीजे. अगर कंपनियों के तिमाही नतीजे सकारात्मक रहते हैं तो इससे बाजार की धारणा बेहतर होगी.

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